विष्णु ने हिरनकश्यप से प्रहलाद को बचाया
या कामदेव ने शिव को तपस्या से जगाया
या कृष्ण ने राधा को अपने रंग में रंग डाला
मान्यता कोई भी हो, इसी बहाने होली का त्यौहार आया
गुलाल, रंग, गुझिया, भंग और बाजे गाजे के संग
मस्ती, छेड़ छाड़ और दिलों के मेल कराने फगवा आया
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